Varanasi News : जिस घर में सिर्फ बेटियां हो और बचपन में सर से पिता का साया उठ जाए। मां घर में गंभीर रूप से बीमार पड़ी हो। दुखों का पहाड़ जैसे सर पर पड़ गया हो। उस घर की हालत का अंदाजा आप लगा सकते उसका क्या होगा? घर में बेटियों के ऊपर कितनी बड़ी जिम्मेदारी आ जाएगी जिसका अनुमान लगाना काफी मुश्किल होगा। जब लोगों पर गरीबी, मुसीबत एवं दुखों का पहाड़ पड़ता है तो अच्छे से अच्छे लोग टूटकर बिखर जाते है। हम एक ऐसी लड़की की कहानी बताएंगे जो अपने संघर्षों के कारण अपना एक अलग पहचान एवं मुकाम बनाने में जुटी हुई है।
जी हां, आपको राधा श्रीवास्तव के बारे में बताएंगे जो 20 साल की छोटी सी उम्र ही परिवार की जिम्मेदारियां उठा रही है. राधा श्रीवास्तव को जिस उम्र में हाथों में मेंहदी लगनी चाहिए वो उसी उम्र में परिवार चलाने के लिए वाराणसी के प्रसिद्ध घाटों पर घूमने आएं देशी – विदेशी पर्यटकों के हाथों में साढ़े चार सालों मेंहदी लगाकर अपना एवं अपने परिवार का जीवन यापन कर रही है। राधा श्रीवास्तव हाथों में थाली लिए जिसमें मेहंदी एवं फूल से सजे हुए अस्सी घाट से तुलसीघाट तक नजर आएगी।
राधा श्रीवास्तव मूल रूप से चंदौली इलिया निवासी है, जो सामने घाट पर किराए के मकान में रहती है। पिछले आठ साल पहले उनके पिता एक्सपायर हो गए थे. घर में कोई पुरुष नहीं होने के कारण घर – परिवार चलाने की जिम्मेदारी उनके ऊपर आ गई। राधा बताती है कि वो ज्यादा पढ़ी लिखी नहीं है, हालात ने उनको अंग्रेजी बोलना सीखा दिया। वो अब विदेशी महिलाओ से इंग्लिश में बात करती है। वो फ्रांस, स्पेन, अमेरिका, रसिया, जापान, इंग्लैंड सहित यूरोपी देशों को नागरिकों को मेंहदी लगाती है.
राधा श्रीवास्तव ने बताया कि वो सुबह 6 बजे घर से घाट के लिए मेंहदी लगाने के निकलती है रात 8 बजे तक रहती है। इस दौरान लोगों को मेंहदी लगाती है। मेंहदी लगाने के चार्ज के विषय में बताया कि डिजाइन के अनुसार पेमेंट होता है। 50 रुपया से लेकर 500 रुपया तक होता है।मेंहदी लगाने से जो रुपए मिलते है उसी से घर का खर्चा चलता है, मां को दवा आती, दो छोटी बहनों की पढ़ाई का खर्चा है। कभी कभी किसी दिन कोई मेंहदी नहीं लगाता है तो उसको खाली हाथ ही घर जाना पड़ता है, लेकिन निराशा नहीं होती है। वो सोचती है आज नहीं तो कल भगवान ग्राहक भेजेंगे।
मेंहदी लगवाने वाली पलक ने बताया कि राधा बहुत अच्छा मेंहदी लगाती है। वो पांच मिनट के अंदर मेंहदी लगा दी है। इन्होंने जो मेंहदी लगाई है वो बहुत अच्छा है। आप वाराणसी के घाट घूमने और आपको मेंहदी लग जा रही है तो इससे अच्छी बात हो ही नहीं सकती है। आम तौर पर दोनों हाथों में मेंहदी लगाने का चार्ज हजार रुपया तक है पर यहां सस्ता एवं अच्छा लग जा रहा है।